इंदौर: दस दिन गणेशोत्सव गणेश विजर्सन के साथ समाप्त हो गया और इंदौरवासियों के लिए इस उत्सव की एक और मीठी याद छोड़ गया। लोगों ने रातभर जाग पर श्रमिकों की मेहनत को झांकियों के रुप में निहारा। 25 से ज्यादा झांकियों में से कुछ झांकियां पुरस्कार भी पा गई।
प्रशासन द्वारा तय की गई निर्णायक कमेटी ने राजकुमार मिल की बच्चों वाली झांकी को पहला स्थान दिया है। दूसरे स्थान पर मालवा मिल की कालिया मर्तन और स्वेदशी मिल की सीता हरण झांकी रही। तीसरा पुरस्कार हुकुमचंद मिल की वामन अवतार झांकी को मिला। विशेष पुरस्कार कल्याण मिल की रामायण प्रसंग और होप मिल की चंद्रयान झांकी रही। चंद्रयान झांकी को भी लोगों ने खूब पसंद किया। अखाड़ों में छोगालाल उस्ताद व्यायामशाला को पहला पुरस्कार मिला। दूसरा पुरस्कार रामनाथ गुरु व्यायामशाला और तृतीय पुरस्कार अहिरवार चैतन्य व्यायामशाला को दिया गया।
शाम सात बजे शुरू हुआ चल समारोह सुबह पांच बजे थमा। आठ किलोमीटर लंबे झांकी मार्ग पर रातभर झांकिया और अखाड़ों के प्रदर्शन लाखों लोगों ने देखे। सड़कों के दोनों तरफ शहरवासी अपने परिवार के साथ आए थे। कृष्णपुरा छत्री के पास लगे निर्णायक मंच के सामने अखाड़ों ने शस्त्रकला का बखूबी प्रदर्शन किया। निर्णायक मंच के सदस्यों ने झांकियों की बनावट, विद्युत सज्जा, विषय के आधार पर परखा और उसे पुरस्कार दिया। पहले स्थान पर राजकुमार मिल की बच्चों की झांकी रही।
अब तीन दिन के लिए मिलों में निहार सकेंगे झांकियां
शनिवार से तीन दिन के लिए झांकियां मिल परिसरों में रखी जाएगी। श्रमिक क्षेत्र में तीन दिन मेले जैसा माहौल होगा। शाम छह बजे से रात साढ़े 11 बजे तक झांकिया देखने का समय तय किया गया है। इस दौरान शाम को स्वेदशी मिल मार्ग से ट्रैफिक भी प्रतिबंधित रहेगा। डीआरपी लाइन पर प्राधिकरण और नगर निगम परिसर में नगर निगम की झांकियां देखी जा सकती है।