संविधान निर्माता भारत रत्न डाॅ. भीमराव अंबेडकर के नाम पर हर राजनीतिक दल वोट प्राप्त करता है, लेकिन आज भी उनके सिंद्धान्तो को ना ही अमल में ला पाए है और ना की उनके सिद्धांतो के अनुरूप काम हो रहा है। ये कहना है डाॅ. भीमराव अंबेडकर के परपोते और इंडियन बुद्धिस्ट सोसायटी के अध्यक्ष डा. राजरत्न अंबेडकर का।
डाॅ. राजरत्न पहली बार मध्यप्रदेश आये और महू में डाॅ. भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा पर माल्यापर्ण करने के लिए इंदौर पहुंचे। इस दौरान मीडिया से चर्चा करते हुए शिक्षा और मौजूदा स्थिति पर भाजपा, कांग्रेस और आरएसएस पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि देश के सामने उपस्थित चुनौतियों का निराकरण डाॅ. भीमराव अंबेडकर के दिखाएं रास्ते पर चलकर किया जा सकता है। जाति और धर्म के नाम पर लोगों को बांटे जाने की निंदा करते हुए उन्होंने कहा कि देश को कैशलेस नहीं कास्टलेस बनाए जाने की जरूरत है। आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत के बार-बार संविधान की समीक्षा करने के विचार पर भी सवाल खड़े करते हुए कहा कि अगर आपको इतना ही समीक्षा का शौक है, पता करे कि 70 सालों में कितना संविधान लागू हुआ है। जेएनयू के छात्र महंगी शिक्षा के लिए संघर्ष कर रहे है। कोई उनको समझने वाला नहीं है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि गौतम गंभीर की सेहत का ट्वीट मोदी करते है, लेकिन गरीबो की चिंता को लेकर कभी दुःख प्रकट नहीं किया।