उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में उमेश पाल हत्याकांड के आरोपी माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की काल्विन हॉस्पिटल में एक के बाद एक कई गोली मारकर हत्या कर दी गई। 15 अप्रैल को देर रात कॉल्विन अस्पताल ले जाते समय माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की मेडिकल कॉलेज के पास मीडिया कर्मी बनकर आए बाइक सवार तीन बदमाशों ने गोली मारकर हत्या की थी।
अतीक और अशरफ की हत्या करने वालों की पहचान लवलेश तिवारी, शनि और अरुण मौर्य के रूप में हुई। घटना के बाद से रोजाना नए-नए खुलासे हो रहे हैं। पुलिस की टीमें जांच में जुटी हैं। एसआईटी ने इस प्रकरण से संबंधित दो अन्य पुलिसकर्मियों को भी नोटिस जारी कर बयान के लिए बुलाया है।
वहीं, अतीक अहमद व अशरफ को कुल 13 गोलियां लगी थीं। लेकिन दोनों के लिए सिर व माथे पर लगी पहली गोली ही घातक साबित हुई। इससे उन्हें गंभीर चोटें आईं और उनकी मौत हो गई। दोनों के शवों का पोस्टमार्टम करने वाले डॉक्टरों के बयान से यह बात सामने आई है।
हत्याकांड की विवेचना कर रही एसआईटी शूटरों का बयान दर्ज कर चुकी है। अब घटना से संबंधित अन्य लोगों का बयान दर्ज करने की कार्रवाई चल रही है। इसी क्रम में पोस्टमार्टम करने वाले चार डॉक्टरों का भी बयान दर्ज किया गया। सूत्रों का कहना है कि डॉक्टरों ने पोस्टमार्टम रिपोर्ट के संबंध में जानकारी दी।
यह भी बताया कि दोनों को कुल 13 गोलियां लगी थीं। इनमें से अतीक को आठ जबकि अशरफ को पांच गोलियां लगीं। हालांकि पहली गोली ही उनके लिए घातक साबित हुई। अतीक काे सिर के बीचोबीच जबकि अशरफ को माथे के पास गोली लगी थी। इसके बाद भी गोलियां मारी गईं लेकिन पहली ही गोली दोनों के लिए जानलेवा साबित हुई। उधर एसआईटी ने घटना के दौरान मौके पर मौजूद रहे दो अन्य पुलिसकर्मियों को नोटिस जारी कर बयान के लिए बुलाया है।
बैलिस्टिक रिपोर्ट का भी इंतजार
एसआईटी बयान दर्ज करने के साथ-साथ वैज्ञानिक साक्ष्यों के सहारे जांच को आगे बढ़ा रही है। सूत्रों का कहना है कि सीन रीक्रिएशन की फोरेंसिक रिपोर्ट मिल गई है। अब बैलिस्टिक व अन्य जांच रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है। इसके बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।