जेवलिन थ्रो यानी भाला फेंक मुकाबले में नीरज चोपड़ा ने गोल्ड मेडल जीतकर इतिहास रच दिया है। ओलंपिक के इतिहास में किसी भारतीय ने ट्रैक और फील्ड एथलेटिक्स में मेडल नहीं जीता है। नीरज ऐसे पहले खिलाड़ी बन गये हैं। नीरज लगातार तीनों राइंड में टॉप पर रहे और देश के लिए पहला ओलंपिक स्वर्ण पदक हासिल किया। फाइनल मुकाबले में नीरज ने पहले थ्रो में 87.03 मीटर तक भाला फेंका। दूसरे प्रयास में उन्होंने उससे भी आगे 87.58 मीटर भाला फेंका, और फिर टॉप पर रहे। लेकिन तीसरे प्रयास में नीरज चूक गये और केवल 76.79 मीटर ही थ्रो कर पाये। इसके बाद लगातार टॉप पर रहने के कारण उन्हें थ्रो के तीन और मौके दिये गये हैं।
क्वालिफिकेशन राउंड में नीरज ने पहले ही प्रयास में 86.65 मीटर का थ्रो किया था और सीधे फाइनल में पहुंचे थे। नीरज चोपड़ा ने अपनी पहली ही कोशिश में पूल ए की लिस्ट में टॉप पोजिशन हासिल किया था। नीरज ने 2018 में कॉमनवेल्थ गेम्स, एशियन गेम्स और वर्ल्ड जूनियर चैंपियन रहे हैं। वर्ल्ड नंबर 1 और विश्व चैंपियन जर्मनी के जोहानस वेटर (Johannes Vetter) ने 85.64 मीटर भाला फेंककर फाइनल में जगह बनाई थी। इसके अलावा पाकिस्तान के अरशद नदीम ने भी 85.16 मीटर भाला फेंककर ओलंपिक के फाइनल में जगह बनाई।