इंदौर।
रतलाम मंडल के प्रमुख स्टेशन इंदौर से अब केवल 15 ट्रेन बची हैं। इसमेें से भी कुछ ट्रेनाें में यात्री संख्या काफी कम हो गई है। रेलवे जल्द ही इनको बंद करने का निर्णय ले सकता है। इंदौर से उत्तर और पूर्वी भारत में जाने वाले ट्रेन पूरी तरह से पैक चल रही है। जबकि शेष ट्रेनें खाली चल रही है। इंदौर जयपुर ट्रेन को भी आज से बंद किया जा रहा है।
रेलवे के सीनियर पीआरओ जितेन्द्र कुमार जयंत बताते हैं कोरोना के कारण पिछले साल जब लाकडाउन लगा था, तो सभी ट्रेनों का संचालन एक साथ रोक दिया गया था, लेकिन इस बार सरकार ने इस पर रोक नहीं लगाई है। जिससे ट्रेनों का संचालन हो रहा है। लेकिन कोरोना के कारण यात्री सफर नहीं कर रहे हैं और ट्रेन खाली चल रही हैं। पिछले दिनों इंदौर से रवाना हुई एक ट्रेन में केवल 10 यात्री थी।
चूंकि ट्रेनों को एन वक्त पर निरस्त नहीं करता है, इसलिए ट्रेन को रवाना किया। इसके बाद डीआरएम को सूचना दी गई और ट्रेन को बंद कर दिया गया। जयंत के अनुसार कोविड महामारी के कारण लोग यात्रा नहीं कर रहे हैं। लोगों की सुविधा के लिए ट्रेन चलाते हैं, लेकिन जब यात्री नहीं मिलेंगे तो हमें घाटा होगा। हम ट्रेन को बंद कर देंगे। हालांकि हालात सामान्य होने पर इन्हें फिर से चालू कर दिया जाएगा। गौरतलब है कि लाकडाउन के पहले तक इंदौर से हर दिन 52 ट्रेन चलती थी। इस बार भी ट्रेन संख्या 36 तक पहुंच गई थी।
उत्तर भारत में जाने वाली ट्रेनों में भीड़
जानकारी के अनुसार उत्तर भारत जाने वाली ट्रेनों में अच्छे यात्री मिल रहे हैं। इंदौर-पटना, इंदौर-प्रयागराज, इंदौर- कोलकाता जैसी ट्रेने पूरीतरह से पैक जा रही है। जबकि दौर-अंवतिका, इंदौर पुणे, इंदौर-जबलपुर,इंदौर ग्वालियर जैसी कुछ ट्रेनों में यात्री ही नहीं मिल रहे थे। इनमें यात्रियों का औसत 10 से 50 प्रतिशत तक ही रह गया है।
इतनी ट्रेन बची अब इंदौर से
इंदौर-बिलासपुर,इंदौर नईदिल्ली , इंदौर-उदयपुर, इंदौर- जबलपुर, इंदौर कोच्चुवेली, मालवा एक्सप्रेस, इंदौर-प्रयागराज, इंदौर जोधपुर, इंदौर-रीवा, इंदौर हावडा, इंदौर मुंबई, इंदौर ग्वालियर,इंदौर भिंड, इंदौर-प्रयागराज और इंदौर -पटना