इंदौर की जिला जेल में पहली बार हर्बल कलर का प्रशिक्षण जेल में बंद कैदियों को दिया जा रहा हैं। बता दें कि होली के त्यौहार को ध्यान में रखते हुए ही जेल प्रबंधन अपने बंदियों को हर्बल कलर बनाने का प्रशिक्षण दे रहा है। इस दौरान जिला जेल में बंद कैदियों को हर्बल कलर बनाने का प्रशिक्षण दिया गया। इसे बनाने के बाद उस हर्बल कलर को जेल प्रबंधक बाजार में बेचेगा। इस दौरान हनीट्रैप की आरोपी महिलाओं ने भी हर्बल कलर बनाने का प्रशिक्षण लिया और कलर बनाए भी।
इंदौर की जिला जेल में पहली बार जेल में बंद कैदियों के द्वारा हर्बल कलर बनवाया जाएगा। इसके लिए आज जेल प्रबंधक ने एक संस्था के माध्यम से जेल में बंद बंदियों को हर्बल कलर बनाने का प्रशिक्षण दिया। संस्था के द्वारा कैदियों को यह बताया गया कि किस तरह से हर्बल कलर को बनाया जाता है और किन-किन वस्तुओं का उपयोग कर अच्छे हर्बल कलर का निर्माण किया जाता है। वही जेल में बंद कैदियों ने भी प्रशिक्षण के बाद हर्बल कलर का निर्माण किया। बड़ी संख्या में जेल में बंद महिला व पुरुष बंदियों ने हर्बल कलर का निर्माण किया। इस प्रशिक्षण कार्यक्रम में हनी ट्रैप की आरोपी 19 वर्षीय छात्रा ने भी भाग लिया और उसने भी अन्य महिला कैदियों के साथ हर्बल कलर बनाने का प्रशिक्षण लिया। बता दें कि हनी ट्रैप मामले में 19 वर्षीय छात्रा के साथ तीन अन्य महिला आरोपी इंदौर की जिला जेल में बंद है। उन्हीं महिला आरोपियों में से 19 वर्षीय छात्रा ने आज हर्बल कलर बनाने का प्रशिक्षण लिया व कलर बनाए भी। प्रारंभिक तौर पर 15 टन हर्बल कलर कैदियों से बनवाया जाएगा और फिर इसे बाजार में बेचा जाएगा।