हेट स्पीच से नाराज सुप्रीम कोर्ट ने कहा- घृणा फैलाने में मुख्य भूमिका निभा रहे टीवी चैनल

नई दिल्ली: विभिन्न टेलीविजन चैनल पर नफरत फैलाने वाले भाषणों को लेकर नाराजगी जताते हुए उच्चतम न्यायालय ने बुधवार को जानना चाहा कि क्या सरकार ‘मूक दर्शक’ है और क्या केंद्र का इरादा विधि आयोग की सिफारिशों के अनुसार कानून बनाने का है या नहीं? शीर्ष अदालत ने यह भी कहा कि विजुअल मीडिया का ‘विनाशकारी’ प्रभाव हुआ है. किसी को भी इस बात की परवाह नहीं है कि अखबारों में क्या लिखा है, क्योंकि लोगों के पास (अखबार) पढ़ने का समय नहीं है.

उन्‍होंने कहा कि आप मेहमानों को बुलाते हैं और उनकी आलोचना करते है. हम किसी खास एंकर के नहीं बल्कि आम चलन के खिलाफ हैं, एक सिस्टम होना चाहिए. पैनल डिस्कशन और डिबेट्स, इंटरव्यू को देखें. अगर एंकर को समय का एक बड़ा हिस्सा लेना है तो कुछ तरीका निर्धारित करें. सवाल लंबे होते हैं जो व्यक्ति उत्तर देता है उसे समय नहीं दिया जाता. गेस्ट को शायद ही कोई समय मिलता है. केंद्र चुप क्यों है आगे क्यों नहीं आता? राज्य को एक संस्था के रूप में जीवित रहना चाहिए. केंद्र को पहल करनी चाहिए. एक सख्त नियामक तंत्र स्थापित करें.

शीर्ष अदालत ने केंद्र सरकार को इस मामले में अपना रुख स्पष्ट करने को भी कहा कि क्या वह नफरत फैलाने वाले भाषण पर प्रतिबंध के लिए विधि आयोग की सिफारिशों के अनुरूप कानून बनाने का इरादा रखती है? इस बीच, पीठ ने भारतीय प्रेस परिषद और नेशनल एसोसिएशन ऑफ ब्रॉडकास्टर्स (एनबीए) को अभद्र भाषा और अफवाह फैलाने वाली याचिकाओं में पक्षकार के रूप में शामिल करने से इनकार कर दिया. शीर्ष अदालत ने कहा कि हमने टीवी समाचार चैनल का संदर्भ दिया है, क्योंकि अभद्र भाषा का इस्तेमाल दृश्य माध्यम के जरिये होता है. अगर कोई अखबारों में कुछ लिखता है, तो कोई भी उसे आजकल नहीं पढ़ता है. किसी के पास अखबार पढ़ने का समय नहीं है.

‘इससे पहले चुनाव के दौरान हेट स्पीच पर सुप्रीम कोर्ट में चुनाव आयोग का हलफनामा दाखिल किया था और कहा था कि उम्मीदवारों को तब तक प्रतिबंधित नहीं किया जा सकता जब तक केंद्र ‘हेट स्पीच’ या ‘घृणा फैलाने’ को परिभाषित नहीं करता. आयोग केवल IPC या जनप्रतिनिधित्व कानून का उपयोग करता है. उसके पास किसी राजनीतिक दल की मान्यता वापस लेने या उसके सदस्यों को अयोग्य घोषित करने का कानूनी अधिकार नहीं है. अगर कोई पार्टी या उसके सदस्य हेट स्पीच में लिप्त होते हैं तो उसके पास डी रजिस्टर करने की शक्ति नहीं है.

आयोग ने अपने इस हलफनामे में कहा है कि हेट स्पीच को लेकर स्पष्ट कानून नहीं है. और मौजूदा दौर में हेट स्पीच के जरिए नफरत फैलाने वाले भड़काऊ भाषण या बयान देने वालों पर समुचित कार्रवाई करने में मौजूदा कानून सक्षम नहीं हैं. चुनाव के दौरान हेट स्पीच और अफवाहों को रोकने के लिए आयोग आईपीसी और जनप्रतिनिधित्व कानून 1951 के तहत राजनीतिक दलों समेत अन्य लोगों को सौहार्द बिगाड़ने से रोकने को लेकर काम करता है. लेकिन हेट स्पीच और अफवाहों को रोकने के लिए कोई विशिष्ट और निर्धारित कानून नहीं है.

भड़काऊ और घृणित भाषण (हेट स्पीच) को लेकर भाजपा नेता और वकील अश्विनी कुमार उपाध्याय ने याचिका दायर की है, इसमें कथित घृणित और भड़काऊ भाषण पर विधि आयोग की रिपोर्ट को तुरंत लागू करने का निर्देश जारी करने का कोर्ट से अनुरोध किया गया है. उपाध्याय ने हेट स्पीच पर विधि आयोग की 267वीं रिपोर्ट को लागू करने की मांग की है. दरअसल, साल 2017 में विधि आयोग ने घृणित एवं भड़काऊ भाषण को परिभाषित किया था. सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर, भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) और आपराधिक प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) में धारा 153 सी और 505 ए को जोड़ने का सुझाव दिया था.

  • सम्बंधित खबरे

    PM मोदी ने तमिलनाडु के ‘पंबन ब्रिज’ का किया उद्घाटन, नई रेल सेवा को दिखाई हरी झंडी

    प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तमिलनाडु के ‘पंबन ब्रिज’ का आज उद्घाटन कर दिया है. रामेश्वरम में उन्होंने सड़क पुल से एक ट्रेन और एक जहाज को हरी झंडी दिखाई. रामनवमी के अवसर…

    रामलला के ललाट पर आज होगा सूर्य तिलक, भव्य रूप में सजाई गई अयोध्या नगरी

    रामनगरी में चहुंओर आराध्य के जन्मोत्सव की खुशी है। उत्सव मनाने के लिए अयोध्यावासी ही नहीं अपितु सकल प्रदेश और देशवासी उत्सुक हैं। रविवार को सुबह से राम मंदिर परिसर…

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *

    व्यापार

    Donald Trump के ऐलान के बाद हुआ स्टॉक मार्केट क्रैश, बिखर गए ये शेयर

    Donald Trump के ऐलान के बाद हुआ स्टॉक मार्केट क्रैश, बिखर गए ये शेयर

    GST पर मिलेगी बड़ी राहत: वित्त मंत्री सीतारमण ने दिए संकेत, जीएसटी दरों में हो सकती है बड़ी कटौती

    GST पर मिलेगी बड़ी राहत: वित्त मंत्री सीतारमण ने दिए संकेत, जीएसटी दरों में हो सकती है बड़ी कटौती

    मिडिल क्लास को बड़ी राहत, आरबीआई ने 0.25% रेपो रेट घटाया, Home Loan में कमी के आसार, 56 महीनों बाद ब्याज दरों कटौती

    मिडिल क्लास को बड़ी राहत, आरबीआई ने 0.25% रेपो रेट घटाया, Home Loan में कमी के आसार, 56 महीनों बाद ब्याज दरों कटौती

    ‘सोना’ को बजट नहीं आया रास, ऑल टाइम हाईएस्ट प्राइस पर पहुंचा, 10 ग्राम के लिए चुकाने होंगे इतने रुपये, चांदी की कीमत में भी रिकॉर्ड बढ़ोतरी

    ‘सोना’ को बजट नहीं आया रास, ऑल टाइम हाईएस्ट प्राइस पर पहुंचा, 10 ग्राम के लिए चुकाने होंगे इतने रुपये, चांदी की कीमत में भी रिकॉर्ड बढ़ोतरी

    मालामाल हुआ मिडिल क्लास, 12 लाख कमाई तक अब कोई इनकम टैक्स नहीं, 24 लाख के बाद 30% टैक्स, नए रिजीम में भी बड़ा कट, देखें टैक्स स्लैब

    मालामाल हुआ मिडिल क्लास, 12 लाख कमाई तक अब कोई इनकम टैक्स नहीं, 24 लाख के बाद 30% टैक्स, नए रिजीम में भी बड़ा कट, देखें टैक्स स्लैब

    भारत में जल्द होगी Samsung Galaxy S25 की एंट्री, लॉन्च से पहले जानिए कीमत और स्पेक्स

    भारत में जल्द होगी Samsung Galaxy S25 की एंट्री, लॉन्च से पहले जानिए कीमत और स्पेक्स
    Translate »
    error: Content is protected !!