इंदौर ।
स्वास्थ्य विभाग व मेडिकल कालेज प्रबंधन शहर में कोविड संक्रमितों की जांच करने के बाद पांच से छह दिन बाद भी रिपोर्ट नहीं दे रहे है। इसके कारण कई संक्रमित मरीजों का उपचार समय पर शुरु नहीं हो पा रहा है तो संक्रमित मरीज अन्य लोगों को भी संक्रमित कर रहे है। नईदुनिया की पड़ताल में यह सामने आया कि मेडिकल कालेज के माध्यम से जिन निजी लैबों को अहमदाबाद व पुणे में जांच के लिए सैंपल दिए जा रहे हैं, वो पोर्टल पर रिपोर्ट दर्ज करने में देरी कर रहे हैं। यही वजह है कि लोगों को रिपोर्ट मिलने में देरी हो रही है। रिपोर्ट नहीं मिलने के कारण पालिका प्लाजा स्थित आईडीएसपी सेंटर पर हर दिन करीब 200 से 300 लोग अपनी जांच रिपोर्ट की तलाश में पहुंच रहे हैं। हालात यह है कि यहां पर रिपोर्ट लेने के लिए लंबी कतारें लग रही हैं।
तीन हजार सैंपल अहमदाबाद व पुणे जांच के लिए जा रहे
मेडिकल कालेज के पास हर दिन करीब पांच हजार सैंपल जांच के लिए पहुंच रहे हैं। इनमें से मेडिकल कालेज प्रबंधन प्रतिदिन तीन हजार सैंपल पुणे व अहमदाबाद की लैब को जांच के लिए दे रहा है। इन लैबों द्वारा 24 घंटे में मरीजों को रिपोर्ट देने का दावा किया जा रहा है लेकिन हकीकत यह है कि 36 घंटे बाद भी ये लैब पोर्टल पर रिपोर्ट अपलोड नहीं कर पा रहे हैं। इतना ही नहीं आईसीएमआर के जिस पोर्टल पर जांच रिपोर्ट अपलोड करने की व्यवस्था है, वो 12 अप्रैल को पूरे दिन बंद रहा। इस वजह से कई लोगों की रिपोर्ट अपलोड नहीं हो सकी।
अब इंदौर की लैबों में एक हजार सैंपल जांच करवाने की तैयारी
अभी तक एमजीएम मेडिकल कालेज भोपाल से हुए अनुबंध के मुताबिक अहमदाबाद व पुणे सैंपल जांच करने के लिए भेज रहा था। भोपाल स्तर से जांच दरें कम किए जाने के कारण निजी लैब भी अब सैंपलों की जांच कर रिपोर्ट जल्द देने में रुचि नहीं ले रही हैं। ऐसे में संभागायुक्त के निर्देश पर अब मेडिकल कालेज प्रबंधन द्वारा इंदौर शहर की दो निजी लैबों से चर्चा कर शहर में ही एक हजार सैंपल की जांच करवाने की तैयारी की जा रही है ताकि जिन लोगों की जांच हो उनकी रिपोर्ट जल्द आ सके। पिछले दो दिनों से सोडानी डायग्नोस्टिक को 500 सैंपल हर रोज जांच के लिए दिए जा रहे हैं और गुरुवार से सेंट्रल लैब को जांच के लिए 500 सैंपल दिए जाएंगे।