हिंदू धर्म में हर महीने की अमावस्या तिथि पर पितरों की शांति के लिए स्नान, दान, तर्पण करना बहुत लाभकारी माना जाता है. साल में कार्तिक महीने में आने वाली अमावस्या का बहुत महत्व होता है. इसे बड़ी अमावस्या और दिवाली अमावस्या भी कहा जाता है. कार्तिक अमावस्या तिथि को दीपावली का त्योहार मनाया जाता है. इस साल 01 नंवबर 2024 को कार्तिक अमावस्या को है. ब्रह्म पुराण के अनुसार कार्तिक अमावस्या पर देवी लक्ष्मी धरती पर आती हैं. इस दिन पवित्र नदी में स्नान करने और दीप जलाने से अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है. आइए जानते हैं कार्तिक अमावस्या की तिथि और महत्व
कार्तिक अमावस्या 2024 तिथि
हिंदू पंचांग के अनुसार कार्तिक मास की अमावस्या तिथि 01 नंवबर 2024 को दोपहर के 03 बजकर 52 मिनट से शुरू होकर 52 बजे से शुरू होकर अगले दिन 25 अक्टूबर 2022 को शाम 06:16 बजे समाप्त होगी। उदयातिथि के अनुसार कार्तिक अमावस्या 01 नंवबर 2024 को है।
कार्तिक अमावस्या महत्व
- अमावस्या तिथि के स्वामी पितृ देव माने जाते हैं। स्कंद पुराण के अनुसार कार्तिक मास की अमावस्या पर पवित्र स्नान और दान करने से व्यक्ति के सभी पाप नष्ट हो जाते हैं। अमावस्या की रात को तेल का दीपक जलाने से घर में देवी लक्ष्मी का वास होता है।
- इस दिन भगवान विष्णु को तुलसी अर्पित करनी चाहिए और गीता का पाठ करना चाहिए। कार्तिक अमावस्या पर तुलसी की पूजा करने से भगवान विष्णु प्रसन्न होते हैं। इससे मोक्ष की प्राप्ति होती है। साथ ही अमावस्या तिथि को पितरों के लिए तर्पण और श्राद्ध करने के लिए भी शुभ माना जाता है।
- भविष्य पुराण में कहा गया है कि कार्तिक अमावस्या पर दीप, अन्न और वस्त्र (ऊनी वस्त्र) दान करने से रोग-दोष से मुक्ति मिलती है। कार्तिक अमावस्या पर चींटियों को मीठा आटा खिलाने से पाप धुलते हैं और सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं।
कार्तिक अमावस्या 2024 स्नान दान शुभ मुहूर्त
कार्तिक मास की अमावस्या तिथि पर ब्रह्म मुहूर्त में स्नान करना शुभ होता है। कार्तिक मास में भगवान विष्णु जल में निवास करते हैं। इसलिए इस महीने में किसी पवित्र नदी में स्नान करना शुभ माना जाता है। लेकिन अगर आप किसी पवित्र नदी में स्नान नहीं कर पाते हैं तो आप घर पर ही नहाने के पानी में गंगा जल मिलाकर स्नान कर सकते हैं। इस दिन आप सुबह 10.41 बजे तक स्नान और दान कर सकते हैं।