मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव में अब उम्मीदवारों की स्थिति साफ हो गई है. नाम वापसी के बाद यह तय हो गया है कि किस सीट पर किस-किस के बीच मुकाबला होना है. इसके साथ ही स्टार प्रचारकों की आमद का दौर भी शुरू होने जा रहा है. महाकौशल इलाके की 38 सीट पर जीत के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे अगले दो दिनों में बड़ी रैलियां करने वाले हैं.
नाम वापसी के बाद महाकौशल इलाके की 38 सीटों पर 402 उम्मीदवार मैदान में बचे हैं. इसी इलाके की छिंदवाड़ा सीट से कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ भी चुनाव मैदान में है. महाकौशल की अलग-अलग सीटों पर दो केंद्रीय मंत्री, दो सांसद और शिवराज सरकार के दो मंत्री भी चुनाव में अपनी किस्मत आजमा रहे हैं. अब वीआईपी नेताओं की पब्लिक रैली की बात करें तो 4 अक्टूबर को सबसे पहले कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे महाकौशल की दो सीटों पर प्रचार करेंगे.
मल्लिकार्जुन खड़गे बालाघाट में करेंगे पब्लिक रैली
वहीं कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता आलोक शर्मा ने बताया कि मल्लिकार्जुन खड़गे की बालाघाट जिले की कटंगी और डिंडोरी जिले की शहपुरा विधानसभा सीट पर पब्लिक रैली होने जा रही है. इसी तरह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 5 अक्टूबर को सिवनी में एक चुनावी सभा को संबोधित करेंगे. बीजेपी की ओर से बताया गया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रविवार 5 नवंबर को सिवनी आएंगे. पीएम यहां बीजेपी प्रत्याशियों के पक्ष में चुनावी सभा को संबोधित करेंगे. सिवनी के जिला बीजेपी अध्यक्ष आलोक दुबे के अनुसार, प्रधानमंत्री मोदी की सभा पुराना बायपास स्थित मैदान पर दोपहर 11:55 से होगी. तय कार्यक्रम के अनुसार पीएम मोदी दोपहर 11 बजे गोंदिया में उतरेंगे और यहां से हेलीकॉप्टर द्वारा सिवनी पहुंचेंगे. यहां जनसभा को संबोधित करने के बाद पीएम गोंदिया जाकर इंदौर के लिए रवाना हो जाएंगे.
छिंदवाड़ा में क्या इस बार मिलेगी बीजेपी को कामयाबी
बता दें कि कांग्रेस के दिग्गज नेता कमलनाथ मध्य प्रदेश के महाकौशल इलाके के छिंदवाड़ा जिले से आते हैं. महाकौशल में जबलपुर संभाग के आठ जिले जबलपुर, छिंदवाड़ा, कटनी, सिवनी, नरसिंहपुर, मंडला, डिंडोरी और बालाघाट शामिल हैं. यहां के परिणाम हमेशा ही चौंकाने वाले रहे हैं. साल 2018 के चुनाव में भारतीय जनता पार्टी को महाकौशल इलाके से निराशा हाथ लगी थी. इसकी बड़ी वजह आदिवासियों की नाराजगी मानी गई थी.
इससे उनके गृह जिले छिंदवाड़ा की सभी 7 सीटें कांग्रेस ने जीत ली थीं. इसी तरह महाकौशल के एपिसेंटर जबलपुर जिले में कांग्रेस को 8 में से 4 सीट मिली थीं. साल 2018 के चुनाव में महाकौशल के आठ जिलों की कुल 38 विधानसभा सीटों में से 24 कांग्रेस के खाते में गई थीं, जबकि बीजेपी को सिर्फ 13 सीट पर संतोष करना पड़ा. एक सीट निर्दलीय ने जीती थी. वहीं 2013 के चुनाव में बीजेपी ने 24 और कांग्रेस ने 13 सीट जीती थीं, उस बार भी एक सीट निर्दलीय के खाते में गई थी.