जयपुर | जेपी नड्डा के बेटे हरीश नड्डा की शादी रॉयल अंदाज में जयपुर के ‘राजमहल पैलेस होटल’ में हो रही है। जयपुर के होटल इंडस्ट्री बिजनेसमैन रमाकांत शर्मा की बेटी रिद्धि उनकी बहू बन रही हैं। शाम को वेडिंग सेरेमनी है। शाम पौने सात बजे से बारात का स्वागत का कार्यक्रम रखा गया है। रात आठ बजे से वेडिंग रिसेप्शन कार्यक्रम रहेगा। देर रात तक शादी का जश्न और डिनर पार्टी रहेगी।
बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के छोटे बेटे हरीश की शादी में कई राजनेता, बिजनेसमैन और हस्तियां शिरकत करेंगी। आरएसएस के सरसंघचालक मोहन भागवत, लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला, पूर्व सीएम वसुंधरा राजे, बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया, प्रभारी अरुण सिंह, सांसद दीया कुमारी, प्रदेश संगठन महामंत्री चंद्र शेखर, केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत, अर्जुन राम मेघवाल, कैलाश चौधरी, नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया, उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ समेत कई सांसद-विधायक, सीनियर राजनेता इसमें शिरकत कर वर-वधू को आशीर्वाद देंगे। शादी के दौरान वीवीआईपी मूवमेंट को देखते हुए जयपुर कमिश्नरेट पुलिस और प्रशासन की ओर से सुरक्षा के कड़े बंदोबस्त किए हैं।
हिमाचल प्रदेश के बिलासपुर जिले के विजयपुर गांव में 28 जनवरी को हरीश और रिद्धि का आशीर्वाद और स्वागत समारोह के साथ प्रीतिभोज रखा गया है। दोपहर 12.30 बजे से समारोह नड्डा निवास पर शुरू होगा, जिसमें हिमाचल और बिलासपुर के स्थानीय रिश्तेदार-परिचित और बीजेपी नेता आएंगे। शादी का भव्य आशीर्वाद समारोह पांच फरवरी को दिल्ली में आयोजित किया जाएगा, जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह समेत तमाम केंद्रीय मंत्रियों के शामिल होने की संभावना है। दिल्ली में कई राजनीतिक पार्टियों के नेता और बिजनेसमैन भी आशीर्वाद समारोह में पहुंचेंगे।
जेपी नड्डा के दोनों बेटों की शादी का नाता राजस्थान से जुड़ा है। इससे पहले फरवरी 2020 में जेपी नड्डा के बड़े बेटे गिरीश नड्डा की शादी हनुमानगढ़ के रहने वाले कारोबारी अजय ज्याणी की बेटी प्राची से हो चुकी है। पुष्कर में गुलाब बाग पैलेस में हिमाचली और राजस्थानी रीति-रिवाज से शादी हुई थी। इस शादी के बाद भी दिल्ली में अलग से रिसेप्शन रखा गया था। राजस्थान से विदाई के बाद हिमाचल प्रदेश के बिलासपुर जिले में पैतृक निवास में वधू को गृह प्रवेश करवाया गया था। जिसके बाद रिश्तेदार, सगे संबंधियों और नेताओं के लिए खास धाम का आयोजन किया गया था।