श्योपुर। पीएम मोदी ने देश को 70 साल बाद आज बड़ा गिफ्ट दिया है. देश में आज से चीतों की वापसी हो गई है. आज सुबह 2 हेलीकॉप्टर से मध्य प्रदेश में कुनो नेशनल पार्क के पास पालपुर में विदेश से आए मेहमान उतरे. देश में विलुप्त घोषित होने के सात दशक बाद भारत में फिर से चीता, विशेष इंट्रोडक्शन प्लान के तहत एक विशेष विमान में नामीबिया से ग्वालियर पहुंचे थे. इसके बाद इन्हे कूनो नेशनल पार्क लाया गया. 10 घंटे की यात्रा के बाद चीतों को लेकर ग्वालियर के महाराजा एयरबेस से सिंधिया अपने साथ चिनूक हेलीकॉप्टर में लेकर पहुंचे.
पीएम मोदी ने इस मौके पर कहा कि चीता हमारे मेहमान हैं, कुनो राष्ट्रीय उद्यान को अपना घर बनाने के लिए हमें उन्हें कुछ महीने का समय देना चाहिए. साथ ही पीएम ने भारत में चीतों को फिर से लाने के कार्यक्रम में मदद के लिए नामीबिया सरकार को धन्यवाद दिया. पीएम मोदी ने यह भी कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि हमने 1952 में चीतों को विलुप्त घोषित कर दिया, लेकिन दशकों तक उन्हें फिर से लाने के लिए कोई रचनात्मक प्रयास नहीं किया गया.
पीएम ने लिवर घुमाकर बाड़े में प्रवेश कराया, फोटोग्राफी की: KNP में, प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने जन्मदिन के मौके पर देश को इन्हे सौंपा और खुद फोटोग्राफी भी की. नामीबिया से ग्वालियर तक की यात्रा के दौरान, चीते बिना भोजन के आए. बाड़ों में छोड़े जाने के बाद उन्हें खाने के लिए दिया जाएगा. पार्क में एक मंच से विशेष पिंजरे से पीएम मोदी ने लिवर घुमाकर इन्हे छोड़ा और एक बाड़े में प्रवेश कराया. पीएम ने 2 चीते एक एक कर प्रवेश कराए. उसके बाद, अन्य गणमान्य व्यक्ति शेष चीतों को अन्य बाड़ों में छोड़ देंगे.
कैसे आए चीते: चीतों को टेरा एविया की एक विशेष उड़ान में लाया गया, जो यूरोप में चिसीनाउ, मोल्दोवा में स्थित एक एयरलाइन है जो चार्टर्ड यात्री और कार्गो उड़ानें संचालित करती है. यह पार्क विंध्याचल पर्वत श्रृंखला के उत्तरी किनारे पर स्थित है और 344 वर्ग किमी में फैला हुआ है. अधिकारियों ने कुनो में अपने नए घर में बड़ी बिल्लियों को रिहा करने के मोदी के कार्यक्रम की तैयारियों को पूरा करने के लिए भारी बारिश, खराब मौसम और कुछ अवरुद्ध सड़कों का सामना किया. मोदी के आगमन से दो दिन पहले मध्य प्रदेश के ग्वालियर-चंबल क्षेत्र में भारी बारिश हुई.
पीएम मोदी के भाषण की बड़ी बातें: PM ने चीता प्रोजेक्ट को लॉन्च करने के बाद कहा कि चीता लाना पर्यावरण और वन्यजीव संरक्षण की दिशा में हमारा प्रयास है. प्रधान मंत्री ने कहा कि प्रोजेक्ट चीता, जिसके तहत सात दशक पहले विलुप्त होने के बाद देश में फिर से शुरू किया गया था, पर्यावरण और वन्यजीव संरक्षण की दिशा में उनकी सरकार का प्रयास है. मोदी मध्य प्रदेश के कुनो नेशनल पार्क में नामीबिया से लाए गए चीतों को विशेष बाड़ों में छोड़ने के बाद बोल रहे थे.