भोपाल। 2 माह पहले ही बड़े जोश के साथ नई 108 एंबुलेंस का शुभारंभ किया गया था. 1000 एंबुलेंस को लाल परेड मैदान से हरी झंडी दिखाकर रवाना किया गया था, लेकिन यह सभी एंबुलेंस जीपीएस सिस्टम नहीं होने के चलते अब मरीजों तक समय पर नहीं पहुंच पा रही हैं. एक एंबुलेंस को कम से कम 20 मिनट के अंदर मरीज तक पहुंचना होता है, लेकिन अभी जीपीएस सिस्टम नहीं होने के चलते एंबुलेंस आधे घंटे से 1 घंटे के बीच पहुंच रही हैं.
लड़खड़ाती नजर आ रही 108 एंबुलेंस सेवा: प्रदेश में संचालित होने वाली 108 एंबुलेंस सेवा ही अब लड़खड़ाने लगी है. इमरजेंसी एंबुलेंस सेवा का संचालन जय अंबे कंपनी प्रोजेक्ट ने टेकओवर किया है. कंपनी ने बड़े जोश के साथ 1000 से अधिक एंबुलेंस का शुभारंभ भोपाल के लाल परेड मैदान से किया था. लेकिन अब इन नई नवेली 108 में जीपीएस सिस्टम नहीं होने के चलते यह सेवा लड़खड़ाती हुई नजर आ रही है. इसका खुलासा खुद उस पत्र के माध्यम से हुआ है, जिसे जय अंबे कंपनी ने नेशनल हेल्थ मिशन को लिखा है. इसमें 108 एंबुलेंस पर पेनल्टी ना लगाने और सही रकम देने की छूट मांगी गई है.
एनएचएम और कंपनी के बीच अटका मामला
मरीजों तक समय से नहीं पहुंच रही 108 एंबुलेंस: 25 जून को लिखे इस पत्र में एनएचएम को बताया गया है कि, हमारी गाड़ियां मरीज को पिकअप करने के लिए लेट हो रही हैं. क्योंकि हमारे द्वारा अभी तक जीपीएस सिस्टम विकसित नहीं किया गया है. इसलिए जो मरीज या उसका अटेंडर जब इन्हें फोन लगाता है, तो उसकी सही लोकेशन इन्हें नहीं मिल पाती है. जिस वजह से एंबुलेंस का ड्राइवर ज्यादा समय लगाता है और उस मरीज तक 20 से 25 मिनट की जगह आधे घंटे से 40 मिनट से ज्यादा समय के बाद पहुंच पाता है.
कंपनी की ओर से लेटर मिलने की जानकारी प्राप्त हुई है, लेकिन टेंडर में जो शर्ते हैं उसी अनुसार इसका भुगतान और संचालन किया जाएगा.
– प्रियंका दास, एनएचएम डायरेक्टर
टेलीकॉम कंपनी ने डिवाइस देने से किया मना: जय अंबे कंपनी ने अपने पत्र में यह भी बताया है कि, दूरसंचार विभाग और अन्य टेलीकॉम कंपनी ने लोकेशन बेस्ड सिस्टम देने से मना कर दिया है. इस सिस्टम की मदद से हम मदद मांगने वाले के पास आसानी से पहुंच जाते थे, लेकिन यह सिस्टम नहीं होने से और जीपीएस सिस्टम डिवेलप नहीं होने के कारण हम उस तक आसानी से नहीं पहुंच पाए. टेलीकॉम कंपनी ने साफ तौर पर सिस्टम देने से मना कर दिया है.