भोपाल। भोपाल में छोटे तालाब मे खटलापुरा घाट के पास हुए नाव हादसे में 11 युवकों की मौत के बाद अब हादसे की जिम्मेदारी तय करने को लेकर आरोप-प्रत्यारोप लग रहे हैं । कांग्रेस विधायक आरिफ मसूद ने इस पूरे मामले में भोपाल के आईजी योगेश देशमुख की कार्यशैली पर सवालिया निशान खड़े करते हुए उन्हें हटाने की मांग की है। अब उनकी यह मांग ही सवालों के घेरे में है।
दरअसल किसी भी जिले में कानून और व्यवस्था बनाए रखने का काम जिले के कलेक्टर और एसपी का होता है और यदि हादसा प्रशासनिक व पुलिस की चूक का नतीजा है तो इसके लिए सीधे तौर पर कलेक्टर और एसपी ही जिम्मेदार हैं। किसी भी जिले में आईजी का काम केवल सुपरविजन का होता है और वह मातहत एसपी को कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए आवश्यक दिशा निर्देश देता है । ऐसे में इस हादसे के पीछे भला आईजी कैसे जिम्मेदार हैं ,यह अपने आप में एक बड़ा सवाल है।
सूत्रों की मानें तो अपनी कार्यशैली को लेकर कड़क और इमानदार छवि रखने वाले योगेश देशमुख भोपाल में कई लोगों की आंखों की किरकिरी बने हुए हैं ।कमलनाथ के पसंदीदा अफसरों में शुमार योगेश देशमुख की कार्यशैली को उनके ही विभाग के कई अधिकारियों को रास नहीं आ रही और वे उन्हें हटाने के लिए लामबंद हो गए हैं। ऐसे में खटलापुरा का नाव हादसा उन्हें एक उचित अवसर दिख रहा है और इसलिए आई जी देशमुख के खिलाफ हादसे की जिम्मेदारी को लेकर बयानबाजी शुरू हो गई है । हालांकि इस पूरे मामले में खुद मुख्यमंत्री कमलनाथ ने साफ कर दिया है कि भले आई जी इस मामले के कैसे दोषी हो सकते हैं जबकि कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए सीधे तौर पर वह जिम्मेदार नहीं ।