ग्वालियर। यूपी और बिहार में कहर बरपाने के साथ ही दिमागी बुखार मप्र में भी दस्तक दे चुका है। ग्वालियर-चंबल अंचल के सबसे बड़े अस्पताल में बीते 24 घंटे में दो बच्चों की मौत दिमागी बुखार से हुई है। डेंगू, वायरल के बाद अब दिमागी बुखार तेजी से बच्चों में फैल रहा है। अब यह दिमागी बुखार (पायजैनिक मेनिंजाटिस) धीरे-धीरे जानलेवा होता जा रहा है। हालत यह है कि एक बेड पर तीन से चार बच्चों को भर्ती किया गया है। 36 बेड पर 85 बच्चे भर्ती हैं। ज्यादातर वायरल, डेंगू, दिमाग बुखार से पीडि़त हैं। इनमें से 12 बच्चों की स्थिति ज्यादा गंभीर है। जयारोग्य समूह के जयारोग्य और कमलाराजा हॉस्पिटल के डॉक्टर लगातार बच्चों के इलाज में लगे हैं, लेकिन स्थिति बेकाबू होती जा रही है। एक दिन पहले कांग्रेस विधायक प्रवीण पाठक ने भी अस्पताल का निरीक्षण किया था। इसमें एक बेड पर तीन-तीन बच्चे कहीं तो चार बच्चे भी भर्ती देख नाराजगी जाहिर की थी। बच्चों की दिमागी बुखार से मौत मामले में कोई भी डॉक्टर बोलने को तैयार नहीं हैं, पर इतना जरूर है कि अधीक्षक ने बच्चों की मौत के जांच के आदेश दिए हैं। ग्वालियर में डेंगू, वायरल के बाद अब दिमागी बुखार से भी पीडि़त बच्चे मिलने लगे हैं। सीधे शब्दों में कहें से अंचल के सबसे बड़े अस्पताल में लगातार दिमागी बुखार के मरीज बढऩे लगे हैं। यह दिमागी बुखार अब जानलेवा भी होता जा रहा है। कुछ दिन पहले पिछोर से आए 5 साल के बच्चे अल्तमस को बचाने के लिए डॉक्टरों ने काफी प्रयास किए, लेकिन उसे बचा नहीं सके।
आसपास के 25 शहरों से आते हैं मरीज
जयारोग्य और कमलाराजा हॉस्पिटल में मप्र, यूपी व राजस्थान के करीब 25 से ज्यादा शहरों से मरीज आते हैं। यही कारण है कि यहां व्यवस्थाएं लचर नजर आती हैं। सबसे ज्यादा मरीज उत्तर प्रदेश के झांसी, ललितपुर, इटावा, मैनपुरी, जालौन, औरेया आदि से आते हैं।