ब्रिटेन सरकार ने आखिरकार भारत में निर्मित ऑक्सफोर्ड/एस्ट्राजेनेका के कोरोन वायरस टीके कोविशील्ड को बुधवार को अपने अंतर्राष्ट्रीय यात्रा परामर्श में शामिल कर लिया है। इसी के साथ ही नई गाइडलाइंस भी जारी की गई है।
इससे पहले, ब्रिटेन के नए यात्रा नियम के अनुसार, सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया द्वारा बनाए गए कोविशील्ड टीके की दोनों खुराक लेने वाले लोगों के टीकाकरण को मान्यता नहीं दी गई थी और ब्रिटेन पहुंचने पर उन्हें 10 दिनों के आइसोलेशन में रहने की जरुरत बताई गई थी। ब्रिटेन के इस फैसले की व्यापक निंदा हुई थी। वहीं पहले Covishield को मान्यता नहीं देने पर ब्रिटेन ने कहा कि भारत के वैक्सीन सर्टिफिकेट को लेकर कुछ परेशानी हो रही है, इस पर चर्चा जारी है। जैसे ही सर्टिफिकेट पर समाधान होता है, भारतीय ब्रिटेन की यात्रा कर सकेंगे।
नई गाइडलाइंस
कोविशील्ड टीके की दोनों खुराकें ले चुके लोगों को 10 दिनों के आइसोलेशन में रहने की जरूरत नहीं
यह भी नहीं बताना पड़ेगा कि वह ब्रिटेन में कहां रहेंगे।
‘एस्ट्राजेनेका कोविशील्ड, एस्ट्राजेनेका वैक्सजेवरिया और मॉडर्ना टाकेडा जैसे चार टीकों को स्वीकृत टीकों के रूप में सूचीबद्ध किया गया
ब्रिटेन आने से 14 दिन पहले टीके की दोनों खुराकें लेना अनिवार्य
जिस वैक्सीन को यूके, यूरोप, अमेरिका के वैक्सीन प्रोग्राम के तहत मान्यता मिली होगी उनको ही ‘फुली वैक्सीनेटिड’ माना जाएगा।
वहीं इसके अलावा ऑक्सफोर्ड/एस्ट्राजेनिका, फाइजर बायोएनटेक, मॉडर्ना और जेनसेन वैक्सीन को भी मान्यता दी गई है लेकिन ये वैक्सीन बारबाडोस, बहरीन, ब्रुनेई, कनाडा, डोमिनिका, इज़राइल, जापान, कुवैत, मलेशिया, न्यूजीलैंड, कतर, सऊदी अरब, सिंगापुर, दक्षिण कोरिया या ताइवान के किसी मान्यता प्राप्त सार्वजनिक स्वास्थ्य निकाय से लगी होनी चाहिए।