भूमाफिया चंपू अजमेरा नेपाल से गिरफ्तार

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इंदौर. लंबे समय से फरार चल रहे भूमाफिया रितेश उर्फ चंपू अजमेरा काे क्राइम ब्रांच ने नेपाल से गिरफ्तार किया है। सूत्रों की माने तो चंपू की एक कार भी जब्त की गई है। टीम चंपू को शनिवार शाम तक इंदौर लेकर पहुंच सकती है। हालांकि, अधिकारी अभी इस मामले में कुछ भी नहीं कर रहे हैं। चंपू ने अपने पिता और भाई के साथ मिलकर लसूड़िया थाने के केलोद हाला गांव में फीनिक्स टाउनशिप काटकर लोगों से करोड़ों रुपए की धोखाधड़ी की थी। मामला पुलिस तक पहुंचे के बाद से ही चंपू फरार चल रहा था।

केलोद हाला फिनिक्स टाउनशिप के रहवासी लोग चंपू अजमेरा से परेशान थे,चंपू अजमेरा ने लसूड़िया थाने को मैनेज करके प्लॉट की धोखाधड़ी का केस जारी रखा था। कुछ समय पहले चंपू अजमेरा ने अपना ऑफिस फिनिक्स टाउनशिप रिंग रोड पर स्थित एक मल्टी में बना रखा था बाद में टाउनशिप का नाम दि एड्रेस कर दिया गया था । जिससे लोग गुमराह होते रहे इस मल्टी के पास में भी चंपू ने अवैध रूप से मल्टी बनाई हुई है यहां के लोगों ने भी चंपू पर लसूड़िया थाने में केस दर्ज कराया है।

चंपू अजमेरा ने केलोद हाला स्थित फिनिक्स टाउनशिप का टीएनसी तीन से चार बार पास करवाया उसने सरकारी जमीन पर तथा नाले के ऊपर प्लॉट काट दिए थे. कई लोगों को ऐसे प्लॉट दिए जो टीएनसीपी के नक्शे में या इसके द्वारा पास किए गए लेआउट में कहीं भी दर्शाए नहीं गए थे एक प्लॉट को कई बार बेचा है

दिसंबर 2019 में भूमाफिया अजमेरा की तलाश में पुलिस ने उसके घर पर दबिश देकर पत्नी याेगिता से पूछताछ की थी। इसके बाद योगिता को गिरफ्तार कर लिया गया था। क्योंकि वह चंपू की कंपनी के बोर्ड में शामिल है। उसके पिता भी पुलिस गिरफ्त में हैं।

जिस प्लॉट के पैसे दिए, वह मौके पर था ही नहीं
पुलिस ने सुखलिया के सीजेआरएम में रहने वाले मोहनलाल श्रीवास्तव की शिकायत पर चंपू के खिलाफ धोखाधड़ी समेत अन्य धाराओं में केस दर्ज किया था। मोहनलाल ने पुलिस को बताया कि उसने चंपू की कंपनी फीनिक्स देवकॉन की कॉलोनी में 2009 में प्लॉट खरीदा था। उसका पूरा पैसा दे दिया। इसकी रजिस्ट्री भी हो गई। कुछ समय बाद कब्जा लेने पहुंचे तो पता चला कि वहां कोई प्लॉट ही नहीं था। चंपू से प्लॉट का बोला तो उसने धमकाया।

दूसरा केस बजरंग नगर निवासी हीरालाल मलेरिया की शिकायत पर दर्ज हुआ है। उन्होंने 2010 में फीनिक्स देवकॉन में प्लॉट लिया था। नक्शे में चंपू ने जो जगह बताई, वहां प्लॉट मौजूद ही नहीं था। उस पर जमीन से जुड़े एक दर्जन से ज्यादा मामले दर्ज हैं। इसमें अकेले फीनिक्स देवकॉन से ही आधा दर्जन से ज्यादा केस दर्ज हैं।

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