जम्मू : केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को घाटी में अलग-अलग आतंकवादी घटनाओं में जान गंवाने वाले चार पुलिसकर्मियों के परिजनों को नियुक्ति पत्र प्रदान किए. इस मौके पर उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नेतृत्व वाली केंद्र सरकार जम्मू-कश्मीर के सुरक्षाकर्मियों के कल्याण के लिए प्रतिबद्ध है. शाह शुक्रवार शाम को दो-दिवसीय दौरे पर जम्मू पहुंचे और उन्होंने तस्वीर ट्वीट की, जिसमें वह शहीद पुलिसकर्मियों के परिजनों को अनुकंपा के आधार पर नौकरी के लिए नियुक्ति पत्र सौंपते दिख रहे हैं.
उन्होंने ट्वीट किया, आतंकवादी घटनाओं में शहीद हुए जम्मू-कश्मीर पुलिस के बहादुर जवानों के परिजनों को आज जम्मू पहुंचकर नौकरी के नियुक्ति पत्र सौंपे. जम्मू-कश्मीर को सुरक्षित रखने के उनके समर्पण और वीरता पर पूरे देश को गर्व है. मोदी सरकार जम्मू-कश्मीर के सभी पुलिसकर्मियों व उनके परिजनों के कल्याण हेतु कटिबद्ध है. राजभवन के प्रवक्ता ने बताया कि मंत्री ने शहीद जवानों के परिजनों से संवाद भी किया. उन्होंने बताया कि शाह ने पूजा देवी को जम्मू जिला पंचायत सचिव, इफरा याकूब को उद्योग और वाणिज्य विभाग में चौकीदार, आबिद बशीर और मोहसिन मुस्ताक को जम्मू-कश्मीर पुलिस में फॉलोवर के पद के लिए नियुक्ति पत्र दिया.
- आज जम्मू पहुँचकर आतंकवादी घटनाओं में शहीद हुए @JmuKmrPolice के बहादुर जवानों के परिजनों को नौकरी के नियुक्ति पत्र सौंपे।
जम्मू-कश्मीर को सुरक्षित रखने के उनके समर्पण और वीरता पर पूरे देश को गर्व है।
मोदी सरकार J&K के सभी पुलिसकर्मियों व उनके परिजनों के कल्याण हेतु कटीबद्ध है। pic.twitter.com/6piznELO3M— Amit Shah (@AmitShah) March 18, 2022
पूजा के पति कांस्टेबल रोहित कुमार 12 जनवरी को कुलगाम जिले के सिंहपुरा-परिवान में आतंकवादियों से मुठभेड़ में शहीद हो गए थे. इस अभियान में पाकिस्तानी आतंकवादी बाबर मारा गया था. इफरा हेड कांस्टेबल मोहम्मद याकूब शाह की बेटी है. याकूब शाह की 13 अगस्त 2014 को पुलवामा जिले के गालंदर-पंपोर इलाके में पुलिस वाहन को निशाना बनाकर किए गए हमले में मौत हो गई थी, जबकि आबिद कांस्टेबल बशीर अहमद शेख के बेटे हैं, जिनकी मौत 29-30 जनवरी 2000 की दरमियानी रात गांदरबल के राबीतार ब्रिज पर पुलिस पार्टी पर हुए हमले में हो गई थी. मोहसिन फॉलोवर मुस्ताक अहमद का बेटा है. मुस्ताक की मौत 9 मई 1993, को बांदीपोरा जिले के कुनान में आतंकवादियों और बीएसएफ की गोलीबारी के दौरान हुई थी.