भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआइ) ने टीम इंडिया के खिलाड़ियों के फिटनेस लेवल को और उंचा करने के लिए इस साल से यो-यो टेस्ट के साथ दो किलोमीटर फिटनेस टेस्ट का नया नियम बनाया था। हालांकि इंग्लैंड के खिलाफ टेस्ट सीरीज को देखते हुए सीनियर खिलाड़ियों को इस टेस्ट से छूट दी गई थी, लेकिन अब बोर्ड ने पहली बार जूनियर-लेवल के खिलाड़ियों के लिए इस टेस्ट का आयोजन किया। इस टेस्ट में संजू सैमसन, राहुल तेवतिया, नितीश राणा, सिद्धार्थ कौल व ईशान किशन जैसे खिलाड़ियों ने हिस्सा लिया। अब खबर ये आ रही है कि, ये सभी खिलाड़ी इस टेस्ट में फेल हो गए।
इन खिलाड़ियों के फेल हो जाने के बाद बीसीसीआइ ने एक और मौका देने की बात कही है क्योंकि ये इनके लिए पहला मौका था। अब अगर दूसरे चांस में ये खिलाड़ी टेस्ट में फेल हो जाते हैं तो फिर उनका टीम में चयन खतरे में पड़ सकता है। बीसीसीआइ के एक सूत्र ने कहा कि, ये एक नए प्रकार का फिटनेस टेस्ट है ऐसे में उन्हें दूसरा मौका दिया जाएगा और कुछ गैप के बाद इसके लिए नई तारीफ निश्चित की जाएगी। अगर कोई खिलाड़ी दूसरी बार फेल हो जाता है तो इंग्लैंड के खिलाफ पांच टी20 और तीन वनडे मैचों के लिए जिस टीम का चयन किया जाएगा उसमें इनका चयन नहीं होगा।
आपको बता दें कि, जब पहली बार यो-यो टेस्ट का नियम आया था तब मो. शमी और अंबाती रायुडू जैसे खिलाड़ी इसे पास नहीं कर पाए थे और फिर बाद में उन्होंने अपनी फिटनेस पर काम किया और उसे पास करने के बाद ही भारतीय टीम में वापसी कर पाए थे। 2 किलोमीट टेस्ट में फेल होने वाले खिलाड़ियों में सबसे बड़ा नाम संजू सैमसन का है क्योंकि वो इंग्लैंड के खिलाफ टी20 सीरीज के लिए टीम इंडिया का हिस्सा हैं।
बीसीसीआइ के सूत्र ने कहा कि, ये टेस्ट उन खिलाड़ियों का किया गया था जो इंग्लैंड के खिलाफ सिमित प्रारूप के सीरीज के लिए टीम का दरवाजा खटखटा रहे हैं साथ ही वो भविष्य के खिलाड़ी भी हैं। पहले यो-यो टेस्ट आया और अब दो किलोमीटर रन फिटनेस टेस्ट आया है। इस टेस्ट में बैट्समैन, विकेटकीपर व स्पिनर को दो किलोमीटर की दूुरी 8 मिनट 30 सेकेंड में पूरी करनी होती है जबकि तेज गेंदबाज के लिए इसका समय 8 मिनट 15 सेकेंड का रखा गया है। सूत्र ने कहा कि, टीम के कप्तान विराट कोहली व कोच रवि शास्त्री इस टेस्ट को भी यो-यो टेस्ट की तरह सबके लिए अनिवार्य करना चाहते हैं।