हिंदू पंचांग के अनुसार हर साल श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को नाग पंचमी का त्योहार मनाया जाता है। इस दिन नागों की पूजा करने के साथ ही उन्हें दूध पिलाने का भी विधान है। मान्यता है कि इस दिन नागों की पूजा करने से कालसर्प दोष से मुक्ति मिलती है। साथ ही भगवान शिव का आशीर्वाद भी मिलता है। आइए जानते हैं इस दिन किस शुभ मुहूर्त में पूजा करनी चाहिए।
नाग पंचमी की सही तिथि
नाग पंचमी तिथि 9 अगस्त को सुबह 12:36 मिनट से शुरू हो रही है, जो 10 अगस्त को सुबह 3:36 मिनट पर समाप्त होगी। ऐसे में उदया तिथि के अनुसार नाग पंचमी का त्योहार 9 अगस्त 2024 को मनाया जाएगा।
नागपंचमी पर पूजा का शुभ मुहूर्त
पूजा का सबसे शुभ समय: 9 अगस्त को सुबह 05 बजकर 47 मिनट से 08 बजकर 27 मिनट तक।
दोपहर में पूजा का शुभ समय: 9 अगस्त को दोपहर 12 बजकर 13 मिनट से 1:00 बजे तक।
प्रदोष काल में पूजा का शुभ समय: 9 अगस्त को शाम 06 बजकर 33 बजे से 08 बजकर 20 मिनट तक।
नागपंचमी का महत्व
सांपों की पूजा का पर्व नागपंचमी श्रावण शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाया जाता है। इस दिन भगवान शिव के आभूषण नागों की पूजा की जाती है। नागों की पूजा करने से आध्यात्मिक शक्ति, सिद्धियां और अपार धन की प्राप्ति होती है। कुंडली में राहु और केतु की स्थिति ठीक न होने पर भी इस दिन विशेष पूजा करके लाभ प्राप्त किया जा सकता है।
नाग पंचमी पर करें इन मंत्रों का जाप
नाग पंचमी के दिन इन मंत्रों का जाप करने से कालसर्प दोष, नाग दोष आदि से मुक्ति मिल सकती है।
ॐ श्री भीलट देवाय नम:।।
ॐ भुजंगेशाय विद्महे, सर्पराजाय धीमहि, तन्नो नाग: प्रचोदयात्।।
सर्वे नागा: प्रीयन्तां मे ये केचित् पृथ्वीतले। ये च हेलिमरीचिस्था ये न्तरे दिवि संस्थिता:।।
ये नदीषु महानागा ये सरस्वतिगामिन:। ये च वापीतडागेषु तेषु सर्वेषु वै नम:।।
अनंत वासुकी शेषं पद्मनाभं च मंगलम्शं खपालं ध्रतराष्ट्रकंच तक्षकं कालियं तथा।।