अब क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल सिर्फ शहरों में ही नहीं बल्कि गांवों में भी किया जाता है. क्रेडिट कार्ड इस्तेमाल करने वालों की संख्या में सालाना बढ़ोतरी देखी गई है. क्या आप जानते हैं कि आपके द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले क्रेडिट कार्ड पर बैंक या कंपनियों द्वारा कई तरह के चार्ज लगाए जाते हैं.
कई यूजर इन चार्ज के बारे में नहीं जानते. आज हम आपको बताएंगे कि क्रेडिट कार्ड पर कौन से हिडन चार्ज (क्रेडिट कार्ड हिडन चार्ज) लगाए जाते हैं.
जॉइनिंग फीस और एनुअल चार्ज
कई कंपनियां या बैंक क्रेडिट कार्ड पर जॉइनिंग फीस और एनुअल चार्ज लगाते हैं. हालांकि जॉइनिंग फीस एक बार ही देनी होती है और एनुअल चार्ज हर साल देना होता है. कई यूजर जॉइनिंग फीस को एनुअल चार्ज मान लेते हैं. कई बार बैंक द्वारा क्रेडिट कार्ड पर एक लिमिट से ज्यादा खर्च करने पर एनुअल चार्ज माफ कर दिया जाता है. जी हां, हर बैंक और कंपनी की इस बारे में अलग-अलग लिमिट होती है.
फाइनेंस चार्ज
अगर यूजर क्रेडिट कार्ड का पूरा बिल नहीं भरता है तो कंपनी या बैंक द्वारा फाइनेंस चार्ज लगाया जाता है. ऐसे में इस चार्ज से बचने के लिए एक्सपर्ट यह भी सलाह देते हैं कि यूजर को न्यूनतम राशि के बजाय पूरा बिल चुकाना चाहिए.
कैश एडवांस फीस
कैश एडवांस फीस बैंक या कंपनी द्वारा ली जाती है. यह फीस तब ली जाती है जब यूजर क्रेडिट कार्ड के जरिए एटीएम से कैश निकालता है. ऐसे में इस फीस से बचने के लिए यूजर को क्रेडिट कार्ड के जरिए कैश नहीं निकालना चाहिए. बैंक द्वारा ली जाने वाली अधिकतम एडवांस फीस 2.5 फीसदी है.
सरचार्ज
अगर आप पेट्रोल-डीजल भरवाने के लिए क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल करते हैं तो आपको बता दें कि यह सरचार्ज लगता है. बैंक या कंपनी एक तय सीमा का सरचार्ज लेती है. कई बार बैंक द्वारा सरचार्ज वापस भी कर दिया जाता है.
फॉरेक्स मार्कअप फीस
जब आप विदेश जाते हैं और किसी भी भुगतान के लिए क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल करते हैं तो फॉरेक्स मार्कअप फीस लगती है. यह फीस ट्रांजेक्शन राशि का 3.5 फीसदी हो सकती है. हालांकि, सभी बैंकों या कंपनियों में इसकी दरें अलग-अलग होती हैं. कई क्रेडिट कार्ड पर फॉरेक्स मार्कअप फीस काफी कम होती है.