नई दिल्ली
भारत में टेस्ला की एंट्री होने वाली है। टेस्ला दुनिया की सबसे बड़ी इलेक्ट्रिक कार कंपनी है। टेस्ला के प्रमुख एलन मस्क जल्द ही भारत आने वाले हैं। वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात करेंगे। इस दौरान वह भारत में अपनी योजना को अमलीजामा पहनाने का खाका पेश कर सकते हैं। अभी भारत में जितनी भी इलेक्ट्रिक कारें बिकती हैं, उनमें 70.5 फीसदी टाटा मोटर्स बनाती है। दूसरा नंबर (12.76%) एमजी मोटर्स का है। इसके प्रमोटर चीनी हैं। महिंद्रा एंड महिंद्रा 5.73 फीसदी की हिस्सेदारी के साथ तीसरे नंबर पर आती है। अन्य खिलाड़ियों में हुंडई, बीवाईडी और अन्य शामिल हैं। यह तय है कि टेस्ला की एंट्री से भारत के इलेक्ट्रिक कार बाजार की तस्वीर बदलेगी। आइए, यहां समझते हैं कैसे।
दिग्गज अमेरिकी कंपनी टेस्ला महंगी कारों की बिक्री के लिए जानी जाती है। ऐसी रिपोर्टें हैं कि टेस्ला की कारें 60 से 70 लाख रुपये की हो सकती हैं। अगर कंपनी ने भारत की नई ईवी पॉलिसी की शर्तों को पूरा किया तो उसकी कारें 26 लाख रुपये से 45 लाख रुपये की पड़ेंगी। यानी टेस्ला महंगी कारों के सेगमेंट में हलचल पैदा करेगी।
पिछले कुछ सालों में भारत में अमीरों की संख्या में तेजी से इजाफा हुआ है। ऐसे में टेस्ला इस सेगमेंट को लुभा सकती है। भारतीय बाजार बहुत बड़ा है। एलन मस्क उसकी इस क्षमता को समझते हैं। ऐसे में टेस्ला के आने से प्रीमियम कार मार्केट सेगमेंट पर फर्क पड़ना तय है। हालांकि, जहां तक मिड प्राइस सेगमेंट का सवाल है तो टेस्ला के आने से बहुत फर्क पड़ने के आसार नहीं हैं।
भारत का ईवी मार्केट
कंपनी हिस्सेदारी (%)
टाटा मोटर्स 70.5
एमजी मोटर्स 12.76
महिंद्रा 5.73
हुंडई 2.75
बीवाईडी 2.44
अन्य 5.82
2030 तक दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा बाजार
भारतीय इलेक्ट्रिक मार्केट अभी भी बहुत परिपक्व नहीं है। चार्जिंग इंफ्रास्ट्रक्चर एक बड़ी चुनौती है। हालांकि, सरकार बहुत तेजी के साथ इस चुनौती को पूरा करने में लगी हुई है। भारतीय ईवी कार बाजार में टेस्ला की मुख्य प्रतिद्वंद्वी टाटा मोटर्स रहने वाली है। ईवी बाजार में प्रतिस्पर्धा लगातार बढ़ रही है। इससे टेस्ला के लिए खतरा पैदा हुआ है। चीनी मैन्यूफैक्चरर्स ने सबसे अधिक किफायती कीमतों में ईवी कार बनाकर चुनौती पेश की है।
भारतीय ईवी बाजार तेजी से बढ़ रहा है। 2030 तक यह दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा बाजार बनने की उम्मीद है। पेट्रोल और डीजल की बढ़ती कीमतों, सरकारी प्रोत्साहन, वायु प्रदूषण पर चिंता और बुनियादी ढांचे में सुधार जैसे कारकों ने ईवी मैन्यूफैक्चरिंग को प्रोत्साहित किया है।
टाटा मोटर्स भारत में सबसे बड़ी ईवी निर्माता है। यह Nexon EV, Tigor EV और Tiago EV सहित इलेक्ट्रिक वाहनों (ईवी) की सीरीज मुहैया कराती है। वहीं, महिंद्रा एंड महिंद्रा भारत में eVerito और Treo Zor जैसे मॉडलों की बिक्री करती है। टेस्ला प्रीमियम इलेक्ट्रिक वाहनों (ईवी) की पेशकश करती है। इसमें मॉडल एस, मॉडल 3, मॉडल X और मॉडल Y शामिल हैं। यह सोलर पैनल और ऊर्जा भंडारण उत्पादों की भी पेशकश करती है।