देश के 10 बड़े अमीरों की संपत्ति 4 राज्यों की जीडीपी और 6 मंत्रालयों के बजट के बराबर है। एशिया के सबसे बड़े अमीर मुकेश अंबानी की नेटवर्थ 3.31 लाख करोड़ रुपए है। यह राशि ओडिशा की जीडीपी (3.46 लाख करोड़ रुपए) के 95% के बराबर है। पलोंजी मिस्त्री की नेटवर्थ (1.10 लाख करोड़ रुपए) हिमाचल प्रदेश की जीडीपी (1.09 लाख करोड़ रुपए) से ज्यादा है। इंडियास्पेंड ने यह रिपोर्ट जारी की है। इसके लिए फोर्ब्स की अरबपतियों की लिस्ट, केंद्रीय सांख्यिकी विभाग और 2017-18 के बजट के आंकड़ों का विश्लेषण किया गया है।
दिलीप सांघवी की नेटवर्थ मेघालय की जीडीपी की 3.5 गुना
- नाम/ग्रुपनेटवर्थ (रु. करोड़)राज्यजीडीपी (रु. करोड़)
- मुकेश अंबानी, रिलायंस 3,31,525 ओडिशा 3,46,294
- पलोंजी मिस्त्री, शपूरजी पलोंजी1,10,041 हिमाचल प्रदेश1,09,564
- शिव नडार, एचसीएल 1,02,331 झारखंड 2,03,358
- दिलीप सांघवी, सन फार्मा 88,313 मेघालय 24,202
- हिंदुजा ब्रदर्स की नेटवर्थ गृह मंत्रालय के बजट से 23% ज्यादा
- नाम/ग्रुपनेटवर्थ (रु करोड़)मंत्रालयबजट (रु करोड़)
- अजीम प्रेमजी, विप्रो 1,47,189 उपभोक्ता मामले,खाद्य एवं आपूर्ति 1,54,231
- लक्ष्मी मित्तल, आर्सेलर मित्तल1,28,264सड़क परिवहन एवं राजमार्ग64,900
- हिंदुजा ब्रदर्स, हिंदुजा ग्रुप1,26,162 गृह मंत्रालय 97,187
- गोदरेज फैमिली, गोदरेज ग्रुप 98,126 स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण 48,852
- कुमार मंगलम बिड़ला, आदित्य बिड़ला ग्रुप 87,612 महिला एवं बाल विकास 22,094
- गौतम अडानी, अडानी ग्रुप 83,407 पेयजल एवं स्वच्छता 20,010
- 9 अमीरों के पास देश की आधी आबादी के बराबर संपत्ति
- ऑक्सफैम इंटरनेशनल की ताजा रिपोर्ट के मुताबिक 1% अमीरों के पास देश की कुल संपत्ति का 51.53% हिस्सा है। 10% अमीरों के पास 77.4% जबकि, 60% आबादी के पास सिर्फ 4.8% संपत्ति है। रिपोर्ट के मुताबिक भारत में ही नहीं दुनियाभर में ऐसा ही ट्रेंड बना हुआ है। दूसरे प्रमुख देशों में भी ज्यादातर संपत्ति 1% लोगों के हाथ में ही है।
- वर्ल्ड इनइक्वेलिटी रिपोर्ट-2018 के मुताबिक 1982-1983 में देश की आय में सबसे ऊपर वाले 1% लोगों की हिस्सेदारी 6% थी। 10 साल बाद यह 10% हो गई। वर्ष 2000 तक यह 15% और 2014 तक 23% पहुंच गई। वर्ल्ड इनइक्वेलिटी डेटाबेस के मुताबिक ब्राजील के 1% अमीरों के पास वहां की कुल संपत्ति का सबसे ज्यादा हिस्सा है। दूसरा नंबर तुर्की और जाम्बिया का है। इस लिस्ट में भारत चौथे नंबर पर है।