पटना: बिहार में सियासी संकट के बीच मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राज्यपाल फागू चौहान को अपना इस्तीफा सौंप दिया है. साल 2017 से चली आ रही एनडीए गठबंधन टूट गई है. इस्तीफा सौंपने के बाद नीतीश कुमार सीधे राबड़ी आवास पहुंचे हैं. इधर इस पूरे मामले को लेकर लोजपा रामविलास के मुखिया और जमुई सांसद चिराग पासवान ने पत्रकारों से बातचीत करते हुए बिहार में राष्ट्रपति शासन की मांग की है.
“नीतीश कुमार ने ना सिर्फ मेरे पिता का अपमान किया था बल्कि, पूरे बिहार को अंधकार में झोंक दिया है. मैं अपनी प्रण के कारण उनके खिलाफ़ लड़ा. अकेले चुनाव लड़ने के लिए जो साहस चाहिए या वो सिर्फ मेरी थी, अन्य किसी ने भी अकेले लड़ने की हिम्मत नहीं दिखाई. मैं फिर से कहना चाहता हूं की नीतीश कुमार में हिम्मत है तो अकेले चुनाव में आकर मुझसे फरिया लें. अपने हितों के लिए नहीं बल्कि #बिहार1stबिहारी 1st के संकल्प के लिए था, जिसके साथ जनता खड़ी हुई और नतीजा हुआ की नीतीश बाबू 43 सीट पर सिमट गए. जल्द बिहार में साथी बदले जाने वाले हैं. लेकिन जनता ने इस बार सिर्फ 43 दिया था, अगली बार शून्य पर आना पड़ेगा. जिन भी नए साथी साथ जाएंगे उनका भविष्य नीतीश जी खराब कर देंगे. उनको भी मैं बोलना चाहता हूं कि वोह भी सोच समझ कर फैसला लें. जानता ने मेरा साथ दिया उसके लिए धन्यवाद.”- चिराग पासवान, राष्ट्रीय अध्यक्ष, लोजपा रामविलास