इंफाल : मणिपुर में विधानसभा चुनाव के पहले चरण में 38 सीटों के लिए सोमवार को कुल पंजीकृत 12.09 लाख मतदाताओं में से 78 प्रतिशत से अधिक ने अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया. मतदान के दौरान हिंसा की छिटपुट घटनाएं सामने आई हैं. अधिकारियों ने यह जानकारी दी. मुख्य निर्वाचन अधिकारी (CEO) राजेश अग्रवाल ने बताया कि विधानसभा चुनाव ड्यूटी में तैनात एक पुलिसकर्मी की उसकी सर्विस राइफल से दुर्घटनावश गोली चल जाने से मौत हो गई. उन्होंने बताया कि घटना चुराचांदपुर जिले के तिपाइमुख विधानसभा क्षेत्र की है. पुलिसकर्मी की पहचान नाओरेम इबोचोउबा के तौर पर की गयी है.
कांगपोकपी जिले में सबसे अधिक 82.97 प्रतिशत मतदान हुआ. इंफाल वेस्ट जिले में 82.19 प्रतिशत, इंफाल ईस्ट में 76.64 प्रतिशत जबकि चूराचांदपुर में 74.45 प्रतिशत मतदान हुआ. अधिकारियों ने बताया कि मतदान का अंतिम प्रतिशत चुनाव कर्मियों के लौटने के बाद ही पता चलेगा. अधिकारियों ने बताया कि राज्य के 1721 मतदान केंद्रों पर कुल मिलाकर मतदान शांतिपूर्ण रहा सिवाय हिंसा की कुछ छिटपुट घटनाओं के. उन्होंने बताया कि उपद्रवियों ने साइतू, हेंगलेप और सिंहहाट निर्वाचन क्षेत्र में ईवीएम को क्षतिग्रस्त कर दिया.
CEO ने बताया कि ईवीएम को क्षतिग्रस्त करने के मामले में प्राथमिकी दर्ज की गई है. शिकायतें मिली हैं कि कुछ मतदान केंद्रों पर मतदान की प्रक्रिया धीमी रही और जो लोग शाम चार बजे से पहले मतदान केंद्रों पर आ गए थे, उन्हें मतदान करने की अनुमति दी गई. उन्होंने बताया कि तिपाईमुख में एक चुनाव कर्मी की रक्तस्रावी स्ट्रोक की वजह से मौत हो गई. वहीं, चूराचांदपुर में दो दलों के कार्यकर्ताओं की झड़प में कम से कम एक व्यक्ति घायल हुआ है.
कथित तौर पर कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने इंफाल वेस्ट जिले के लांगथाबल विधानसभा क्षेत्र के केकवा इलाके में एक बूथ पर तोड़फोड़ की तथा केइराव सीट से एनपीपी के उम्मीदवार का वाहन विपक्षी दल के समर्थकों ने क्षतिग्रस्त कर दिया. हालांकि, इस घटना में कोई घायल नहीं हुआ है. सुरक्षा बलों ने कांगपोकपी जिले के न्यू केईथेलमनबी मतदान केंद्र पर भीड़ को नियंत्रित करने के लिए हवा में गोलियां चलाईं. यह स्थिति तब पैदा हुई जब कांग्रेस ने भाजपा पर बूथ कब्जा करने की कोशिश का आरोप लगाया.
मणिपुर विधानसभा के लिए हो रहे चुनाव के प्रथम चरण में अपनी किस्मत आजमा रहे प्रमुख उम्मीदवारों में मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह, विधानसभा अध्यक्ष वाई खेमचंद सिंह, उपमुख्यमंत्री एवं एनपीपी उम्मीदवार युमनाम जॉयकुमार और मणिपुर कांग्रेस अध्यक्ष एन लोकेश सिंह शामिल हैं. कुल 38 सीटों में से, इंफाल ईस्ट में 10, इंफाल वेस्ट में 13, बिष्णुपुर और चुराचांदपुर में छह-छह और कांगपोकपी जिले में तीन सीटें हैं. नौ सीटें अनुसूचित जनजाति और एक सीट अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित हैं. राज्य के 381 मतदान केंद्रों पर सभी महिला कर्मियों ने मतदान कराया.
भाजपा ने सभी 38 सीटों पर, कांग्रेस ने 35, एनपीपी ने 27, जद (यू) ने 28, शिवसेना ने सात, आरपीआई (अठावले) ने छह, लोजपा (रामविलास) ने तीन वहीं कुकी नेशनल असेंबली और कुकी पीपुल्स एलायंस ने दो-दो सीटों पर उम्मीदवार खड़े किए हैं. 18 निर्दलीय भी चुनाव मैदान में हैं. कांग्रेस ने रविवार रात को वांगोई से पार्टी प्रत्याशी सजाम जॉय सिंह को अनुशासन के आधार पर पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से निष्कासित कर दिया.
भाजपा ने वर्ष 2017 में मणिपुर में एनपीपी, नगा पीपुल्स पार्टी और लोक जनशक्ति पार्टी की सहयोग से सरकार बनाई थी. हालांकि, इस चुनाव में वह सभी सीटों पर लड़ रही है. कांग्रेस ने इस चुनाव में भाकपा, माकपा, फॉरवर्ड ब्लॉक, आरएसपी और जनता दल (सेकुलर) से गठबंधन किया है. कांग्रेस पिछले चुनाव में 60 में से 28 सीटें जीत कर सबसे बड़े दल के रूप में उभरी थी.
बता दें कि शेष 22 विधानसभा सीटों के लिए दूसरे चरण में पांच मार्च को मतदान होगा, जबकि मतगणना 10 मार्च को होगी. मतदाता शुरुआत में सामाजिक दूरी का पालन करते हुए कतारबद्ध नजर आए, लेकिन धूप निकलने के बाद वे छांव में अपनी बारी का इंतजार करते दिखाई दिए.