मेडिकल और कन्वेएंस को भी फिर से लागू किया जा सकता है. हालांकि सूत्रों के मुताबिक एक विकल्प ये भी है कि स्टैंडर्ड डिडक्शन को 40,000 रुपये का सालाना से बढ़ाकर कुछ और कर दिया जाए.
आगामी लोकसभा चुनाव को देखते हुए 2019 का अंतरिम बजट मिडिल क्लास के लिए कुछ राहत भरी खबर ला सकता है. 1 फरवरी को पेश होने जा रहे अंतरिम बजट में वित्त मंत्री अरुण जेटली मध्य वर्ग को राहत देते हुए आयकर छूट की सीमा बढ़ाकर दोगुनी कर सकते हैं. यानी मौजूदा टैक्स सीमा को 2.5 लाख रुपए से बढ़कर 5 लाख रुपए किया जा सकता है. इतना ही नहीं मेडिकल और कन्वेएंस को भी फिर से लागू किया जा सकता है. हालांकि सूत्रों के मुताबिक एक विकल्प ये भी है कि स्टैंडर्ड डिडक्शन को 40,000 रुपये का सालाना से बढ़ाकर कुछ और कर दिया जाए.
फिलहाल क्या व्यवस्था?
वर्तमान में, 2.5 लाख रुपए की आय को टैक्स में छूट मिलती है, जबकि 2.5 लाख से 5 लाख रुपए के बीच की सालाना आय पर 5 फीसदी टैक्स लगता है, जबकि 5-10 लाख रुपए की सालाना आय पर 20 फीसदी और 10 लाख रुपए से अधिक की सालाना आय पर 30 फीसदी टैक्स लगता है. जबकि 80 साल के अधिक की उम्र के नागरिकों को 5 लाख रुपए सालाना की आय पर टैक्स में छूट मिलती है.
80C के तहत छूट बढ़कर हो 3 लाख रु
फेडरेशन ऑफ इंडियन चैंबर्स ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (फिक्की) ने व्यक्तिगत इनकम टैक्सपेयर्स को निवेश योजनाओं में के आधार पर धारा 80C के तहत मिलने वाली छूट को बढ़ा कर 3 लाख रुपए करने की भी सिफारिश की है. फिक्की का कहना है कि इससे व्यक्तिगत बचत को प्रोत्साहन मिलेगा.