केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने गुरुवार को कहा कि भगोड़े कारोबारी विजय माल्या, नीरव मोदी और मेहुल चौकसी को वापस लाया जाएगा। उन्हें भारतीय कानूनों का सामना करना ही होगा। सरकार उनके प्रत्यर्पण का लगातार प्रयास कर रही है। माल्या और नीरव मोदी ब्रिटेन में हैं जबकि चौकसी एंटीगुआ में है।
भारत में करना पड़ेगा कानूनों का सामना
राज्यसभा में बीमा संशोधन विधेयक-2021 पर चर्चा का जवाब देते हुए वित्त मंत्री ने जोर देकर कहा कि उन्हें हर हाल में वापस लाया जाएगा और उन्हें यहां कानूनों का सामना करना ही पड़ेगा। किंगफिशर एयरलाइंस का मालिक रहा माल्या 9,000 करोड़ रुपये का घोटाला कर मार्च 2016 में ब्रिटेन भाग गया था। तब से वह वहीं रह रहा है। इसी तरह नीरव मोदी और उसका रिश्तेदार चौकसी भी सार्वजनिक क्षेत्र के पंजाब नेशनल बैंक से साढ़े चौदह हजार करोड़ रुपये का घोटाला करके भागे हुए हैं। उनकी भारत वापसी के लिए सरकार लगातार प्रयास कर रही है। ब्रिटेन और एंटीगुआ की अदालतों में उनके खिलाफ प्रत्यर्पण के मुकदमें चल रहे हैं।
ज्ञात हो कि 14 हजार करोड़ रुपये के पीएनबी घोटाले के मुख्य आरोपित नीरव मोदी के प्रत्यर्पण का रास्ता साफ हो गया है। पिछले दिनों लंदन की स्थानीय अदालत ने कोरोना संक्रमण, खराब स्वास्थ्य, कमजोर साक्ष्य, न्याय नहीं मिलने की आशंका और भारतीय जेलों में खराब स्थिति जैसे नीरव मोदी के तर्कों को खारिज कर उसके प्रत्यर्पण की इजाजत दे दी थी। वैसे नीरव के पास अदालत के फैसले को हाईकोर्ट में चुनौती देने का विकल्प खुला है। जनवरी 2018 में पीएनबी के लाइन ऑफ क्रेडिट के माध्यम से 14 हजार करोड़ रुपये के घोटाले के खुलासे के बाद नीरव मोदी परिवार सहित विदेश भाग गया था।
राज्यसभा में बीमा संशोधन विधेयक-2021 पर चर्चा का जवाब देते हुए वित्त मंत्री ने जोर देकर कहा कि उन्हें हर हाल में वापस लाया जाएगा और उन्हें यहां कानूनों का सामना करना ही पड़ेगा। किंगफिशर एयरलाइंस का मालिक रहा माल्या 9,000 करोड़ रुपये का घोटाला कर मार्च 2016 में ब्रिटेन भाग गया था। तब से वह वहीं रह रहा है। इसी तरह नीरव मोदी और उसका रिश्तेदार चौकसी भी सार्वजनिक क्षेत्र के पंजाब नेशनल बैंक से साढ़े चौदह हजार करोड़ रुपये का घोटाला करके भागे हुए हैं। उनकी भारत वापसी के लिए सरकार लगातार प्रयास कर रही है। ब्रिटेन और एंटीगुआ की अदालतों में उनके खिलाफ प्रत्यर्पण के मुकदमें चल रहे हैं।
ज्ञात हो कि 14 हजार करोड़ रुपये के पीएनबी घोटाले के मुख्य आरोपित नीरव मोदी के प्रत्यर्पण का रास्ता साफ हो गया है। पिछले दिनों लंदन की स्थानीय अदालत ने कोरोना संक्रमण, खराब स्वास्थ्य, कमजोर साक्ष्य, न्याय नहीं मिलने की आशंका और भारतीय जेलों में खराब स्थिति जैसे नीरव मोदी के तर्कों को खारिज कर उसके प्रत्यर्पण की इजाजत दे दी थी। वैसे नीरव के पास अदालत के फैसले को हाईकोर्ट में चुनौती देने का विकल्प खुला है। जनवरी 2018 में पीएनबी के लाइन ऑफ क्रेडिट के माध्यम से 14 हजार करोड़ रुपये के घोटाले के खुलासे के बाद नीरव मोदी परिवार सहित विदेश भाग गया था।
विजय माल्या मार्च 2016 में भारत से ब्रिटेन भाग गया था। शराब कारोबारी विजय माल्या पर 17 बैंकों के 9 हजार करोड़ रुपये का गबन करने का आरोप है। फिलहाल लंदन में जीवन बिता रहा माल्या को प्रत्यर्पित करने की कोशिशों को उस वक्त सफलता मिली थी, जब लंदन की मजिस्ट्रेट कोर्ट ने दिसंबर 2018 में उसे भारत प्रत्यर्पित करने का आदेश दिया था। इस आदेश को विजय माल्या ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। इस पर सुनवाई करते हुए 12 फरवरी को हाई कोर्ट ने माना कि भगोड़े शराब कारोबारी विजय माल्या के खिलाफ बेईमानी के पुख्ता सबूत हैं।मेहुल चोकसी हीरा व्यापारी नीरव मोदी का मामा है। नीरव मोदी भी 13,000 करोड़ रुपये से अधिक के इस कथित धोखाधड़ी मामले में एक अन्य मुख्य आरोपी है। चोकसी भारत से भाग गया है और जांच एजेंसियों के अनुसार वह एंटीगुआ और बारबुडा में रह रहा है।