उज्जैन । केंद्रीय जेल भैरवगढ़ के कर्मचारियों के भविष्य निधि खातों से 13.50 करोड़ रुपये के गबन के मामले में गिरफ्तार जेल अधीक्षक उषा राज की पुत्री का बुधवार को रिमांड खत्म हो गया। कोर्ट ने उसे देवास जेल भेजने के आदेश जारी कर दिए। पुलिस ने उसकी सहेली के इंदौर स्थित घर से 32 लाख रुपये कीमत के हीरे, सोने व चांदी के जेवरात जब्त किए थे।
बता दें कि केंद्रीय जेल भैरवगढ़ के 68 कर्मचारियों के भविष्य निधि खातों से जेल के सहायक लेखा अधिकारी रिपुदमनसिंह, धर्मेंद्र लोधी, शैलेंद्रसिंह सिकरवार ने 13.50 करोड़ रुपये का गबन किया था। रिपुदमन ने जेल अधीक्षक उषा राज के आइडी व पासवर्ड का उपयोग कर गबन कांड को अंजाम दिया था।
पुलिस मामले में अब तक जेल अधीक्षक उषा राज, रिपुदमन, शैलेंद्र तथा जगदीश परमार, सटोरिए रोहित चौरसिया, रिंकू मांदरे, हरीश गेहलोत, धर्मेंद्र उर्फ रामजाने व फूल कारोबारी शुभम कोरी को गिरफ्तार किया था। पुलिस ने सोमवार को पूर्व जेल अधीक्षक उषा राज की पुत्री उत्कर्षणी को भोपाल से गिरफ्तार किया था। मंगलवार को पुलिस उसे लेकर इंदौर पहुंची थी। यहां उसकी सहेली के घर से एक सूटकेस बरामद किया है। इसमें आधा किलो सोने के व हीरे के आभूषण, करीब चार किलो चांदी के बर्तन व जेवरात तथा 35 हजार रुपये बरामद किए थे। बुधवार को पुलिस रिमांड खत्म होने पर उसे कोर्ट में पेश किया था। यहां उसने उज्जैन के किसी जेल में न भेजने की गुहार लगाई थी। कोर्ट ने उसे देवास जेल भेजने के आदेश जार कर दिए।
ये आरोपित अब भी फरार
पुलिस को गबन कांड के मामले में फरार जेल प्रहरी धर्मेंद्र लोधी, सटोरिए सुशील परमार, पिंटू तोमर, अमित मीणा, ललित मंगेश की तलाश में जुटी है।