
नई दिल्ली. तमिलनाडु के कुनूर जिले में हवाई दुर्घटना का शिकार हुए भारतीय वायुसेना के चार जवानों और भारतीय सेना के दो सैनिकों के शवों की पहचान हो गई है. खबर है कि शहीदों के परिजनों को शनिवार सुबह शव सौंप दिए गए हैं. इसके बाद सैन्य सम्मान के साथ अंतिम संस्कार के लिए दिल्ली लाया जाएगा. फिलहाल, हादसे के कारण का पता लगाने के लिए जांच जारी है. एमआई-17वी5 की दुर्घटना में देश के पहले चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत समेत 13 लोगों की मौत हो गई थी.
शनिवार को लांस नायक बी साई तेजा और लांस नायक विवेक कुमार के शवों के पहचान की प्रक्रिया पूरी हो गई है. बुधवार को हुए हादसे में जनरल रावत के अलावा ब्रिगेडियर एलएस लिड्डर, सीडीएस की पत्नी मधुलिका रावत, स्टाफ अधिकारी लेफ्टिनेंट कर्नल हरजिंदर सिंह की भी मौत हो गई थी. शुक्रवार को ही ब्रिगेडियर लिड्डर को भी अंतिम विदाई दी गई. इनके अलावा कमांडर पृथ्वी सिंह चौहान, स्क्वाड्रन लीडर कुलदीप सिंह, जूनियर वॉरंट ऑफिसर राणा प्रताप दास, जूनियर वॉरंट ऑफिसर अरक्कल प्रदीप, हवलदार सतपाल राय, नायक गुरसेवक सिंह, नायक जीतेंद्र कुमार ने जान गंवाई थी.
गुरुवार को सेना ने कहा था कि भारतीय सेना मृतकों के परिजनों की भावनाओं के मद्देनजर शवों की पहचान करने के लिए सभी जरूरी उपाय कर रही है. जारी बयान के अनुसार, ‘मृतक जवानों के परिवार के सदस्य दिल्ली पहुंच रहे हैं. सभी जरूरी मदद मुहैया कराई जा रही है.’ सेना ने कहा था कि पॉजिटिव आइडेंटिफिकेशन के बाद ही परिजनों को शव सौंपे जाएंगे. हेलीकॉप्टर क्रैश होने के बाद सभी शवों को वेलिंगटन स्थित मिलिट्री हॉस्पिटल लाया गया था.
इस घटना में भारतीय वायुसेना के ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह ही एकमात्र जीवित बचे थे, जिनका सेना के अस्पताल में इलाज जारी है. जनरल रावत का हेलीकॉप्टर कुनूर में जिस दौरान हादसे का शिकार हुआ, तब वे सुलूर से वेलिंगटन की दूरी तय रहे थे. शुक्रवार को पूरे देश ने भारत के वीर सपूत को नम आंखों से अंतिम विदाई दी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह समेत कई बड़े नेताओं ने शहीदों को श्रद्धांजलि दी थी.