कोरोना महामारी की भयावह होती स्थिति के बीच गुजरात के वडोदरा से सकारात्मक खबर आई है। यहां एक मस्जिद को कोविड अस्पताल में बदल दिया गया है। जहांगिरपुरा मस्जिद में 50 से अधिक बिस्तर लगाए गए हैं जहां उन मरीजों का इलाज किया जा रहा है, जिन्हें अस्पतालों में बिस्तर उपलब्ध नहीं हो पा रहा है। मस्जिद के ट्रस्टी ने बताया कि शहर के अस्पतालों में ऑक्सीजन और बिस्तरों की कमी देखते हुए हमने मस्जिक को कोडि फेसिलिटी में बदलने का फैसला किया। इन्सानियत का राहत सांस देने वाला यह काम रमजान के महीने में हो रहा है, इससे बेहतर क्या हो सकता है। नीचे देखिए तस्वीरें
चल पड़ी पहली आक्सीजन एक्सप्रेस
कोरोना संक्रमण की वजह से लोगों की टूट रही सांसों को आक्सीजन देने के लिए पहली आक्सीजन एक्सप्रेस सोमवार को चल पड़ी। यह ट्रेन रात करीब 8.05 बजे सात टैंकरों के साथ नवी मुंबई में कलांबोली गुड्स यार्ड से विशाखापत्तनम (विजाग) के लिए रवाना हुई। मेडिकल आक्सीजन लेकर यह ट्रेन महाराष्ट्र लौटेगी। रेल मंत्री पीयूष गोयल ने रविवार शाम इस ट्रेन को चलाने की घोषणा की थी। इस ट्रेन पर आक्सीजन टैंकरों के रोल आन-रोल आफ (चढ़ाने-उतारने के लिए) के लिए मध्य रेलवे ने रातोंरात कलांबोली में रैंप का निर्माण किया। आक्सीजन एक्सप्रेस के स्टाफ के संचालन का खर्च भारतीय सेना उठा रही है जबकि इसका रखरखाव रेलवे के पास है। यह ट्रेन वसई रोड, जलगांव, नागपुर, रायपुर होते हुए विजाग पहुंचेगी।